गोपालगंज के मांझागढ़ प्रखण्ड में बाढ़ और बारिश के पानी से नुकसान हुए फसल, किसान हुए बेहाल
गोपालगंज में लगातार हो रही दो माह से बारिश और आई विनाशकारी बाढ़ से मांझागढ़ प्रखण्ड अंतर्गत 10 पंचायतों के हजारो किसानों के द्वारा दिन रात एक कर खून पसीना बहाते हुए लाखो रुपया खर्च कर आय दोगिना बढ़ाने के उद्देश्य से सब्जी और धान के खेती किये। परन्तु प्राकृतिक आपदा ने इनकी मेहनत और आशाओ पर पानी फेर दिया। दो माह से लगातार हो रही बारिश से जल जमाव हो गया था। इसी बिच आई विनाशकारी बाढ़ में गौसिया, निमोइया, भैषही, पुरैना, कोइनी, मांझा पूर्वी कर्णपुरा, मांझा पछमी, जगरनाथा, छव्ही सहित 10 पंचायतों के किसानों के द्वारा आय दोगुना करने के उद्देश्य से सब्जी और धान की खेती की गई थी। लेकिन बाढ़ और बारिश के पानी मे फसल डूब जाने के कारण सब्जी और धान फ़सक नुकसान हो गए। जिसके चलते आज किसान बेहाल है।
किसानों का मानना है कि सरकार के द्वारा जल जमाव से निजात पाने के लिए हर गांव में नाले और खड़ी की व्यवस्था किया गया था। जिससे बारिश के पानी खेतो और खाड़ी में चल जाते थे। लेकिन कुछ लोगो के द्वारा नाला और खाड़ी को भर कर बथान बना लिया गया है। जिसके चलते पानी की निकासी बन्द हो गयी है। जिससे जल जमाव के कारण फसल नुकसान हो जा रहा है। इसी में बाढ़ के पानी मे फसल दुब जाने से सारे फसल नुकसान हो गए।