गोपालगंज

गोपालगंज के सीआई तरुण श्रीवास्तव समेत एक सहयोगी पर एफआईआर दर्ज, भेजा गया जेल

गोपालगंज नगर पर्षद क्षेत्र के राजस्व कर्मचारी सह प्रभारी अंचल निरीक्षक तरुण कुमार श्रीवास्तव को पुलिस ने शनिवार को जेल भेज दिया. सीआई के साथ उसका निजी सहायक राहुल कुमार को भी जेल भेजा गया. सदर अनुमंडल पदाधिकारी वर्षा सिंह की छापेमारी के बाद अंचल पदाधिकारी विजय कुमार सिंह ने नगर थाने में प्राथमिकी दर्ज करायी है.

सीओ ने दर्ज प्राथमिकी में कहा है कि तरुण कुमार श्रीवास्तव अपने घर पर अपना कार्यालय खोल रखे थे. दाखिल खारिज के लिए ऑनलाइन अप्लाई करनेवाले लोगों से दोहन करते थे. जिसकी शिकायत अनुमंडल पदाधिकारी के पास पीड़ित किसान द्वारा किया गया था. छापेमारी के दौरान लैपटॉप, नगदी रुपये, मोबाइल, दस्तावेज सहित घर से भू-स्वामित्व प्रमाणपत्र, फॉर्म में लपेटे हुए तथा पॉकेट से 59 हजार दो सौ रुपये बरामद किये गये हैं. शुक्रवार को देर शाम हुई छापेमारी के बाद सीआई के मकान को सील कर दिया गया था. उधर, नगर थाने की पुलिस ने प्राथमिकी दर्ज करने के बाद आरोपित सीआई और उसके सहयोगी को कोर्ट में पेशी करने के बाद कड़ी सुरक्षा के बीच चनावे जेल भेज दिया.

राजस्व कर्मचारी सह सीआई के आवास पर छापेमारी के दौरान थावे थाना क्षेत्र के रामचंद्रपुर निवासी राहुल कुमार को भी पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है. राहुल के पास से एक लैपटॉप को बरामद किया गया है. जिसमें भोरे के चकवा की ढेला देवी, उदवंत राय बंगरा के अमरेंद्र कुमार सिंह, सहडिगरी की सुमित्रा देवी, बसडिला के प्रद्दुमन प्रसाद, हजियापुर के कृष्णाजी प्रसाद, छपिया के विक्रम चौधरी, रजोखर के अब्दुल सत्तार, जंगलिया के जाकिर हुसैन, रुपनछाप के अशरफ अली, कुचायकोट के महुअवाबाग की हमिदा खातुन की जमीन का दस्तावेज मिला है. जिसकी जांच अधिकारियोंद्वारा की जा रही है.

राजस्व कर्मचारी सह सीआई तरुण श्रीवास्तव और राहुल कुमार के पास से मोबाइल बरामद किया गया है. मोबाइल में कॉल डिटेल की जांच पुलिस ने शुरू कर दी है. कॉल डिटेल की जांच के बाद कई और लोगों के नाम खुलकर सामने आने की उम्मीद है. फिलहाल पुलिस एक-एक बिंदुओं पर जांच कर रही है. जब्त किये गये साक्ष्यों के आधार पर पुलिस की कार्रवाई चल रही है.

गौरतलब है की गोपालगंज के बैकुंठपुर थाना क्षेत्र के बास घाट मंसूरिया निवासी हरेंद्र राम द्वारा हरखुआ में अपनी जमीन की दाखिल खारिज कराने के लिए एक अक्तूबर को ऑनलाइन आवेदन किया गया था. जिसका वाद संख्या निर्गत किया गया तो राजस्व कर्मचारी तरुण कुमार श्रीवास्तव द्वारा जमाबंदी हो जाने का आश्वासन देते हुए पांच हजार रुपये की मांग की गयी. आवेदक द्वारा 17 अक्तूबर को उनके आवास पर पांच हजार रुपये भी दे दिया गया. फिर रुपये की मांग की गयी. जिसके बाद आवेदक ने देने में असमर्थता जतायी. उधर, शिकायत मिलने के बाद एसडीएम ने सदर बीडीओ, सीओ व नगर इंस्पेक्टर के साथ छापेमारी की.

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