गोपालगंज में लचर स्वास्थ्य व्यवस्था, अस्पताल में मोबाइल की रौशनी में हो रहा है मरीजो का इलाज
गोपालगंज में स्वास्थ्य व्यवस्था इन दिनों बदहाली के दौर से गुजर रहा है. यहाँ सदर अस्पताल में अल्ट्रासाउंड और एक्सरे की व्यवस्था पहले से समाप्त कर दी गयी है. इसके बाद अब जिले के सबसे बड़े अस्पताल में बत्ती गुल हो गयी है. बत्ती गुल होने की वजह से यहाँ अँधेरे में ही मोबाइल की रौशनी में मरीजो का इलाज किया जाता है.
सूबे के स्वास्थ्य मंत्री मंगल पाण्डेय गोपालगंज के प्रभारी मंत्री भी है. ऐसे में जिले के सबसे बड़े अस्पताल में इस तरह की कुव्यस्था स्वास्थ्य विभाग के लिए शर्मनाक है. गोपालगंज के सदर अस्पताल के इमरजेंसी वार्ड में उमस भरी गर्मी और अँधेरे में मरीज भर्ती है. मरीज के परिजन अँधेरे में ही मोबाइल की रौशनी में अपने मरीज के पास बैठे है. यहाँ रौशनी के मोबाइल का टोर्च ही एकमात्र सहारा है. जब मरीजो की तबियत बिगडती है. तब यहाँ मरीजो के इलाज के पहुचे चिकित्सक को भी अँधेरे में ही मरीज का इलाज करना पड़ता है. इमरजेंसी वार्ड में ड्यूटी पर मौजूद डॉक्टर मरीजो का इलाज मोबाइल के टोर्च में कर रहे है.
नगर थाना के हरबासा गाँव से आये देवानंद कुमार के मुताबिक उनके पिता जी को दिल की बीमारी है. जिन्हें सदर अस्पताल के इमरजेंसी वार्ड में भर्ती कराया गया है. लेकिन यहाँ बिजली नहीं है. यहाँ जो भी डॉक्टर आ रहे है. वे मोबाइल की रौशनी में ही मरीज का इलाज कर रहे है. वही अपने दादा का इलाज कराने पहुचे अजीत यादव की भी यही समस्या है. यहाँ बिजली के अभाव में मरीज को ऑक्सीजन का सिलेंडर भी नहीं दिया जा रहा है.
सदर अस्पताल के इमरजेंसी वार्ड में ड्यूटी पर मौजूद इमरजेंसी प्रभारी डॉ अमर कुमार के मुताबिक उनकी ड्यूटी सुबह 08 बजे से है. एक घंटा के बाद भी बिजली नहीं आई है. जिसकी वजह से उमस भरी गर्मी में मरीजो को पसीना होगा. जो उनकी सेहत के लिए घातक साबित होगा. चिकित्सक के मुताबिक मोबाइल की रौशनी में ही उन्हें मरीजो का इलाज करना पड़ रहा है. इस समस्या को अविलम्ब दूर करना चाहिए.