गोपालगंज: बाढ़ पीड़ितों के बीच पहुचे डीएम, कम्युनिटी किचेन में बाढ़ पीड़ितों के खाने का लिया स्वाद
गोपालगंज में गंडक का जलस्तर लगातार बढ़ रहा है. जिले के निचले इलाके में लगातार बाढ़ का पानी फ़ैल रहा है. यहाँ सदर प्रखंड के अलावा मांझागढ़ , बरौली , सिधवलिया , बैकुंठपुर और कुचायकोट के दो दर्जन से ज्यादा गाँव बाढ़ से प्रभावित है. ये सभी गाँव रिवर साइड में बसे है.
आज शाम को चार बजे वाल्मीकि नगर बराज से गंडक में 02 लाख 87 हजार क्यूसेक पानी छोड़ा है. इस पानी से गोपालगंज में और नए इलाके प्रभावित होंगे. इसके साथ ही जिले के सभी तटबंधो पर भी दबाव बढेगा.
गोपालगंज के डीएम अरशद अजीज के मुताबिक जिले में वर्तमान में गंडक नदी खतरे के निशान से करीब 38 सेंटीमीटर ऊपर बह रहा है. हालाकि डीएम ने कहा की जिले में अभी बाढ़ से कोई खतरा नहीं है. यहाँ के सभी तटबंध अभी सुरक्षित है. गंडक के लगातार बढ़ते जलस्तर को लेकर गंडक के निचले इलाके में बसे लोगो को बाहर निकालने की कवायद शुरू कर दी गयी है. अभी तक मात्र 136 परिवार ही तटबंध के अन्दर से राहत शिविर में आ सके है. डीएम ने कहा की अभी और लोगो को लगातार बाढ़ से घिरे इलाके से बाहर निकलने की सलाह दी जा रही है.
आज डीएम ने सदर प्रखंड के मंगुरहा और रजोखर में बनाए गए दो कम्युनिटी किचेन के जायजा लिया. यहाँ डीएम ने बाढ़ पीडितो के साथ खाना खाया और खाने का स्वाद लिया. डीएम अरशद अजीज ने कहा की अभी दो जगहों पर बाढ़ राहत शिविर शुरू किया गया है. यहाँ मेनू के अनुसार बाढ़ प्रभावित लोगो को खाना खिलाया जायेगा. इसके साथ ही जो लोग तटबंध के अन्दर बसे हुए है. और वे नदी में घिरे हुए होने के बावजूद बाढ़ राहत शिविर में आना नहीं चाहते है तब उन्हें खाने का पैकेट तैयार कर उनके घर तक पहुचाया जायेगा.