गोपालगंज: नोडल सहित चार कर्मियों पर गिर सकती है गाज, डीडीसी ने इन सभी से मांगा स्पष्टीकरण
गोपालगंज के कुचायकोट में ग्रामीण लोहिया स्वच्छ बिहार अभियान में रुचि नहीं लेने, कार्य मे शिथिलता बरते जाने और शौचालय प्रोत्साहन राशि का भुगतान समय पूर्व नहीं किए जाने को लेकर स्थानीय प्रखण्ड के कुचायकोट पंचायत के स्वच्छता अभियान टिम के नोडल सहित चार कर्मियों से डीडीसी ने स्पष्टीकरण मांगा है। स्पष्टीकरण मिलते ही कर्मियों में हड़कंप मचा हुआ है। उक्त जानकारी बीडीओ दीप चंद्र जोशी ने कर्मियों के साथ प्रखण्ड मुख्यालय पर आयोजित बैठक में दिया।
बीडीओ दीप चंद्र जोशी ने कहा कि पिछले 25 अक्टूबर को डीडीसी का औचक निरीक्षण हुआ। जिसमें वे कुचायकोट पंचायत में भ्रमण के दौरान शौचालय निर्माण करवा चुके ग्रामीणों से शौचालय प्रोत्साहन राशि के बारे में जानकारी लिया। जिसमें पाया कि कई लाभुक ऐसे है जो शौचालय बनवा लिए है और उनका प्रोत्साहन राशि स्वच्छ्ता टिम की लापरवाही से नहीं मिल सकी है। जिसपर नाराजगी जाहिर करते हुए कुचायकोट प्रखण्ड के पंचायती राज पदाधिकारी सह कुचायकोट पंचायत के नोडल नीतीश कुमार, विकास मित्र सरिता कुमारी, पंचायत रोजगार सेवक वैधनाथ प्रसाद, कृषि सलाहकार ओम प्रकाश पाठक और ग्रामीण आवास सहायक संजीव साह से स्पष्टीकरण की मांग की गई है। बीडीओ श्री जोशी ने बैठक में कहा कि स्पष्टीकरण का जबाब समय पर नहीं दिए जाने पर चयन मुक्त भी की जा सकती है। वही बीडीओ ने सभी कर्मियों से कहा कि अब आंशिक भुगतान हमलोगों के लिए नासूर बन गई है। इसको दो दिनों में समाप्त की जाय। किसी भी परिस्थिति में लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। इन्होंने बैठक में मैजूद स्वच्छ्ता मिशन के प्रखण्ड समन्वयक बबीता कुमारी को निर्देश दिया कि दो दिनों में सभी लाभुकों के खाता में राशि भेज दे। ताकि शौचालय प्रकरण बंद की जा सके। बैठक में निर्देश मिलते ही सभी कर्मी अपने अपने पंचायतों में कुच कर गए।
इस मौके पर प्रखण्ड कृषि पदाधिकारी राघव प्रसाद, प्रखण्ड पंचायती राज पदाधिकारी नीतीश कुमार, आवास पर्वेक्षक अमिताभ कुमार्क सिंह, कमलेश शर्मा, आवास सहायक ब्रजेश कुमार चौबे, प्रकाश कुमार सिंह, कंचन कुमार, संजीव कुमार, अरुण कुमार, करण, राहुल कुमार, प्रवीण श्रीवास्तव, धर्मेंद्र मांझी, इंद्रलोक कुमार, सुबोध शुक्ला सहित सभी कर्मी आदि थे। इधर स्पष्टीकरण किये जाने के बाद प्रखण्ड से लेकर पंचायत के कर्मियों में हड़कम्प मचा हुआ है। वैसे स्पष्टीकरण से कार्य मे तेजी जरूर देखने को मिल रही है।