ISRO ने देश का सबसे भारी रॉकेट ‘GSLV मार्क-3’ लॉन्च कर रचा इतिहास
भारत एक के बाद एक अंतरिक्ष में अपनी धाक जमाते जा रहा है। भारत के सबसे वजनी रॉकेट को सोमवार को शाम 5:28 बजे श्रीहरिकोटा से लॉन्च करने के 16 मिनट बाद अंतरिक्ष की कक्षा में में सफलतापूर्वक स्थापित किया गया। रॉकेट करीब 200 हाथियों जितना भारी है। GSLV MK-3 अन्य देशों के चार टन श्रेणी के उपग्रहों को प्रक्षेपित करने की दिशा में भारत के लिए अवसर खोलेगा। राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस सफलता के लिए ISRO के वैज्ञानिकों को बधाई दी है। मोदी ने ट्वीट के जरिए कहा, ‘जीएसएलवी एमके-3 डी1/जीएसएटी-19 मिशन ने भारत को नेक्स्ट जेनरेशन लॉन्च वीइकल और उपग्रह क्षमता के नजदीक पहुंचाया है। देश को गर्व है।’
देश का सबसे भारी रॉकेट
ISRO (Indian Space Research Organisation) अध्यक्ष एस.एस. किरण कुमार के मुताबिक ये मिशन बेहद महत्वपूर्ण है क्योंकि यह अब तक का सबसे भारी रॉकेट और उपग्रह है जिसे देश से छोड़ा जाना है। उन्होंने बताया कि अब तक 2300 किलोग्राम से अधिक वजन के संचार उपग्रहों के लिए ISRO को विदेशी लॉन्चरों पर निर्भर रहना पड़ता था। उन्होंने बताया कि GSLV MK-3 D1, 4000 किलो तक के पेलोड को उठाकर GTO और 10 हजार किलो तक के पेलोड को पृथ्वी की निचली कक्षा में पहुंचाने में सक्षम है।