शराब नहीं पीने से कोई जिन्दगी नहीं चली जायेगी – नीतीश !
‘बिहार में आगामी एक अप्रैल से हर हाल में शराबबंदी लागू होगी. किसी भी जगह शराब बिकती पायी पायी गयी तो उस इलाके के थाना की जिम्मेदारी होगी क्यूंकि जहां गड़बड़ काम होता वहा के थानेदार को सब पता रहता है.’
ये बातें आज राजधानी के एसकेएम हाल में मद्य निषेध अभियान की शुरुआत करते हुए सीएम नीतीश कुमार ने कही. साथ ही उन्होंने लोगों से अपील भी की कि कहीं भी अवैध कारोबार हो रहा हो तो उसकी शिकायत कर रोक लगाएं.
नीतीश ने इस निर्णय के लागू होने की सारी जिम्मेवारी प्रशासन पर डालते हुए कहा कि बिहार के किसी भी जगह से अवैध शराब की बिक्री की शिकायत मिलने पर अधिकारी कार्रवाई करेंगे नहीं तो उनपर ही कार्रवाई की जायेगी. राज्य के 11 करोड़ आबादी में 6 करोड़ के पास मोबाइल है. किसी ना किसी जगह से डीजीपी के पास फोन आ जायेगा.
उन्होंने आज इस पुरे कार्यक्रम की जानकारी देते हुए बताया कि चरणबद्ध तरीके से शराबबंदी को लेकर काम किया जा रहा है. इसको लेकर एक सामाजिक आंदोलन चालाएंगे जिसमें समाज के सभी लोगों खासतौर से महिलाओं की सबसे अहम भूमिका होगी.
नीतीश ने मामले में विरोधियों को जवाब देते हुए कहा कि मीन मेख निकालने वाले निकालते रहेंगे. शराबबंदी के बाद बेरोजगार होनेवालों के लिए रोजगार की भी व्यवस्था की गई है. शराब की दुकानों से दूध और सब्जी बेचने का भी कार्यक्रम है.
साथ ही उन्होंने साफ़ किया कि ‘बिहार में विदेशी शराब सरकार की ही कंपनी बेचेगी. देशी के बाद इसकी बिक्री पर भी रोक लगायी जायेगी. सब काम जल्दबाजी में ठीक नहीं होता है.’
सरकारी दुकानों में बिकनेवाली शराब पर सख्त निगरानी रखने की बात करते हुए नीतीश ने कहा कि ‘नहीं पीने से कोई जिन्दगी नहीं चली जायेगी. किसी को भी 10 दिन से ज्यादा का शराब नहीं दिया जाएगा. जहाँं पर विदेशी शराब बेची जायेंगी वहा पर सीसीटीवी भी लगेगा. सब कुछ मॉनिटरिंग की जायेगी.’
सीएम ने बताया कि शराबबंदी में सहयोग के लिए पडोसी राज्यों जैसे झारखंड, पश्चिम बंगाल और उत्तर प्रदेश सरकारों को पत्र लिखा गया है. निगरानी के सभी उपाए किए जा रहे हैं. सरकार के लिए पैसा के बदले लोगों की सेहत ज्यादा महत्वपूर्ण है.