शराब बंदी को लेकर बिहार ट्रांसपोर्टर फेडरेशन का 2 अक्टूबर चक्का जाम का ऐलान
5 अप्रैल से सूबे में जारी पूर्ण शराबबंदी को लेकर छुटपुट विरोध तो जारी है। पर वर्तमान में जारी शराबबंदी कानून के खिलाफ पहली बार बिहार मोटर ट्रांस्पोर्ट फेडेरेशन ने उग्र आंदोलन की चेतावनी दी है।
रविवार को प्रदेश अध्यक्ष उदय सिंह की अध्यक्षता में फेडेरेशन के प्रदेश कमिटी के पदाधिकारियों की आपात बैठक मुजफ्फरपुर में हुई। बैठक के बाद फेडेरेशन ने आगामी 2 अक्टूवर को पूरे प्रदेश में चक्का जाम का निर्णय लिया है जिसमें किसी भी प्रकार के वहन को सड़क पर चलने नही दिया जाएगा।फेडेशन शराबबंदी कानून के एक प्रावधान के खिलाफ है जिसके तहत गाड़ी में शराब पकड़े जाने पर गाड़ी जब्त कर चालक और खलासी को जेल भेज दिया जाता है। उनका कहना है कि पैसेंजर का सभी सामान चेक करके बसों या दूसरी गाड़ियों में बैठाना संभव नही है।कोई पैसेंजर अगर चोरी चुपके बसों में शराब ले जाता है तो सिर्फ उसके खिलाफ कार्रवाई होनी चाहिए। लेकिन नई शराब नीती के तहत राज्य में अबतक 40 बसों को विभाग के अधिकारयों नें जब्त कर बस कर्मियों को जेल भेज दिया है।
फेडेरेशन अध्यक्ष ने उदय शंकर सिंह ने आरोप लगाया है कि अधिकारी कानून की आड़ में अवैध उगाही कर रहे हैं। उन्होनें चेतावनी दी है कि सरकार नें शराबबंदी कानून की समीक्षा नही की तो उग्र आन्दोलन किया जाएगा।