गोपालगंज: जेल प्रशासन की लापरवाही, हथकड़ी लगा कर विचाराधीन कैदी का कराया जा रहा है इलाज
गोपालगंज जेल में ईलाज के दौरान सजायफ्ता कैदी की मौत का मामला अभी शांत भी नही हुआ था की जेल प्रशासन की एक और लापरवाही सामने आई है। इस बार मामला कैदी के ईलाज से जुड़ा हुआ है।
दरअसल गोपालगंज सदर अस्पताल में एक विचाराधीन कैदी का ईलाज किया जा रहा है। लेकिन नियमो को ताक पर रखकर मानवीय संवेदनाओ की परवाह किये बिना ही कैदी का इलाज हथकड़ी लगा कर कराया जा रहा है। जो किसी भी तरह से सही नहीं ठराया जा सकता है। विचाराधीन कैदी का नाम अजय तिवारी है। वह भोरे के कल्याणपुर का रहने वाला है।
बताया जाता है कि वह हत्या के एक मामले में चार माह पूर्व जेल में बंद हुआ था। उसे सीने में दर्द की शिकायत थी। इस शिकायत के बाद उसे सदर अस्पताल में भर्ती कराया गया था। जहा उसका ईलाज हथकड़ी के साथ किया जा रहा है। सीने में दर्द की शिकायत से परेशान कैदी को हार्ट अटैक की शिकायत बताई जा रही है। जिसे बेहतर ईलाज के लिए चिकित्सको ने बाहर के लिए रेफर कर दिया है। लेकिन इतनी गंभीर बीमारी के बावजूद उसके हाथो में हथकड़ी लगाकर जनरल वार्ड में भर्ती कराया गया है। उसका इलाक अन्य मरीजो के साथ किया जा रहा है। जबकि नियमो के मुताबिक इलाज के दौरान कैदी को हथकड़ी नहीं लगाना है। इसके अलावा उसे कैदी वार्ड में रखकर उसका इलाज करना है। लेकिन यहाँ सबकुछ नियमो को ताक पर रखकर किया जा रहा है।
इस मामले में कैदी के सुरक्षा में तैनात जवान निर्भय कुमार से बात की गयी तो उसका कहना था की कैदी का इलाज करा दिया गया है। खून और अन्य जाँच के लिए यहाँ जनरल वार्ड में लाया गया है। वही इस मामले में जेल अधीक्षक अमित कुमार का कहना है कि कैदी का इलाज हथकड़ी में लगाकर नहीं करना है। लेकिन जेल से जैसे ही कैदी को ईलाज के लिए सदर अस्पताल में भेजा जाता है। वह डीएपी के जवानों को सौप दिया जाता है। यह जिम्मेदारी डीएपी के जवानों की है की उन्हें कैदी का इलाज कैसे कराना है।